* पूरब दिशा
सोमवार और शनिवार को पूर्व दिशा की यात्रा नहीं करनी चाहिए। इस दिन पूर्व दिशा में दिशा शूल रहता है। सोमवार को दर्पण देखकर या पुष्प खाकर और शनिवार को अदरक, उड़द या तिल खाकर घर से बाहर निकलें। इससे पहले पांच कदम उल्टे पैर चलें तो इसका निदान संभव है।
*पश्चिम दिशा
रविवार और शुक्रवार को पश्चिम दिशा की यात्रा नहीं करनी चाहिए। इस दिन पश्चिम दिशा में दिशा शूल रहता है।रविवार को दलिया, घी या पान खाकर और शुक्रवार को जौ या राईं खाकर घर से बाहर निकलें। इससे पहले पांच कदम पीछे चलें तो निदान संभव है।
* उत्तर दिशा
मंगलवर और बुधवार को उत्तर दिशा की यात्रा वर्जित मानी गई है। इस दिन इस ओर दिशा शूल रहता है। मंगलवार को गुड़ खाकर और बुधवार को तिल, धनिया खाकर घर से बाहर निकलें। इससे पहले पांच कदम पीछे चलें तो निदान संभव है।
*दक्षिण दिशा
गुरुवार को दक्षिण दिशा की यात्रा वर्जित है। इस दिन दक्षिण में दिशाशूल रहता है। दही या जीरा खाकर घर से बाहर निकलें। चलने से पहले पांच कदम पीछे चलें।तब निदान संभव है।
*दक्षिण-पूर्व दिशा(आग्नेय कोणीय दिशा)
सोमवार और गुरुवार को दक्षिण-पूर्व (आग्नेय) दिशा की यात्रा वर्जित मानी गई है। इस दिन इस दिशा में दिशा शूल रहता है।
सोमवार को दर्पण देखकर, गुरुवार को दही या जीरा खाकर घर से बाहर निकलें। इससे पहले पांच कदम पीछे चलें।
*नैऋत्य कोणीय दिशा
रविवार और शुक्रवार को दक्षिण-पश्चिम (नैऋत्य) दिशा की यात्रा वर्जित मानी गई है। इस दिन इस दिशा में दिशा शूल रहता है। रविवार को दलिया और घी खाकर और शुक्रवार को जौ खाकर घर से बाहर निकलें। इससे पहले पांच कदम पीछे चलें।
*वायव्य कोणीय दिशा
मंगलवार को उत्तर-पश्चिम (वायव्य) दिशा की यात्रा वर्जित है। इस दिन इस दिशा में दिशा शूल रहता है।मंगलवार को गुड़ खाकर घर से बाहर निकलें। इससे बचाव के लिए पहले पांच कदम पीछे चलें।
*ईशान कोणीय दिशा
बुधवार और शनिवार को उत्तर-पूर्व (ईशान) दिशा की यात्रा वर्जित मानी गई है। इस दिन इस दिशा में दिशाशूल है। बुधवार को तिल या धनिया खाकर और शनिवार को अदरक, उड़द की दाल या तिल खाकर घर से बाहर निकलें। गमन से पहले पांच कदम पीछे भी चलें।
प्रस्तुति:
विनोद भारद्वाज
मो.नं.-2
राम-कृष्ण दैवज्ञ निकेतन
धर्म नगरी
बिल्सी, जनपद बदायूं
उत्तर प्रदेश।